चाकसू – जैन कनेक्ट संवाददाता | बालवाड़ी स्थित श्री दिगंबर जैन मंदिर आदिनाथ जी में अक्षय तृतीया का पावन पर्व श्रद्धा और भक्ति भाव के साथ मनाया गया। इस अवसर पर श्रद्धालुओं ने दिनभर के धार्मिक कार्यक्रमों में भाग लिया और जैन धर्म की परंपराओं का पालन किया। आयोजन का मुख्य आकर्षण भगवान आदिनाथ का अभिषेक, शांतिधारा और तीर्थंकरों का पूजन था।
🌅 प्रारंभ में भगवान आदिनाथ का अभिषेक और शांतिधारा सुबह के समय भगवान आदिनाथ का अभिषेक किया गया और शांतिधारा का आयोजन हुआ।
🕯️ चारों तीर्थंकरों को अर्घ्य समर्पित मंदिर परिसर में भगवान आदिनाथ के साथ-साथ चौबीस तीर्थंकरों को अर्घ्य समर्पित किए गए।
👥 समाज के अध्यक्ष और महामंत्री का मार्गदर्शन समाज के अध्यक्ष दिनेश गंगवाल तामडिया और महामंत्री अजय गंगवाल ने आयोजन की महिमा पर प्रकाश डाला।
💬 अशोक गंगवाल और अशोक सोगाणी ने अक्षय तृतीया का महत्व बताया
समाज के संरक्षक अशोक गंगवाल रूपाहेड़ी और अशोक सोगाणी ने अक्षय तृतीया के महत्व और जैन धर्म में दान के महत्व पर चर्चा की।
📜 ऋषभदेव का इक्षु रस से पारणा अशोक गंगवाल ने बताया कि आज ही के दिन भगवान ऋषभदेव ने छह महीने के कठिन तपस्या के बाद राजा श्रेयांश से इक्षु रस का आहार प्राप्त किया था।
💎 दान और पुण्य की महिमा अक्षय तृतीया को दान और पुण्य के पर्व के रूप में मनाए जाने का महत्व बताया गया।
🎉 श्रद्धालुओं ने उत्साह के साथ कार्यक्रम में भाग लिया समाज के सभी सदस्य और श्रद्धालु पूरे उत्साह और भक्ति भाव से आयोजन में शामिल हुए।
🕉️ धार्मिक गीतों और भजनों का गायन कार्यक्रम के दौरान धार्मिक गीतों और भजनों का गायन भी किया गया, जिससे वातावरण में भक्ति भाव का संचार हुआ।
🌿 सामूहिक पूजा और आरती का आयोजन आखिरकार सामूहिक पूजा और आरती का आयोजन किया गया, जिसमें सभी श्रद्धालुओं ने मिलकर भगवान का पूजन किया।
💪 समाज की एकता और सक्रियता का प्रतीक यह आयोजन समाज की एकता और धार्मिक सक्रियता का उत्कृष्ट उदाहरण बना।
अक्षय तृतीया का पर्व बालवाड़ी श्री दिगंबर जैन मंदिर में अत्यंत श्रद्धा और भक्ति भाव से मनाया गया, जिसमें जैन धर्म की परंपराओं का पालन करते हुए समाज ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। इस आयोजन ने समाज को दान और पुण्य के महत्व से अवगत कराया और जैन धर्म की उन्नति में योगदान देने का संकल्प लिया।

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